
सूरत।जकरीब ढाई-तीन महीने पूर्व रिंग रोड स्थित शिवशक्ति मार्केट में भयानक आग लगने की घटना के बाद से मार्केट को बंद कर दिया गया है। इस घटना के बाद कई व्यापारियों ने आसपास की अन्य मार्केट में किराये की दुकानों के सहारे अपना व्यापार शुरू कर दिया है। वहीं, शिवशक्ति मार्केट को नए सिरे से बनाया जाए या उसकी मरम्मत की जाए, इस मुद्दे पर व्यापारियों के बीच बैठकों का सिलसिला शुरू हुआ है।
आगजनी की घटना के बाद रविवार को शिवशक्ति मार्केट के व्यापारियों की तीसरी बैठक आयोजित की गई, जिसमें प्रमुख सुनील कोठारी के अलावा समिति सदस्य जयंती नानेशा, प्रकाश भंडारी, नरेंद्र हिंगड़, व्यापारी जीतेंद्र कोठारी समेत लगभग 150 से 200 व्यापारी उपस्थित थे। बैठक में प्रमुख मुद्दा यह रहा कि मार्केट को पूरी तरह से नया बनाया जाए या केवल मरम्मत कर काम चलाया जाए।
उल्लेखनीय है कि आग लगने की घटना के समय मार्केट में अवैध निर्माण सहित कई आरोप भी सामने आए थे। वहीं, शिवशक्ति मार्केट को बने हुए लगभग 35 वर्ष हो चुके हैं और यह 40 घंटे तक जलती रही थी। इसलिए अधिकांश व्यापारी इसे फिर से नया बनाने के पक्ष में नजर आए।
नई मार्केट के निर्माण में अनुमानित 120 करोड़ रुपये से अधिक खर्च आने की संभावना है। इस खर्च की व्यवस्था कैसे की जाए, इस पर भी बैठक में विचार-विमर्श हुआ। वर्तमान में शिवशक्ति मार्केट में कुल 844 दुकानें हैं, जिनमें से लगभग 580 दुकानों को भारी नुकसान हुआ है। मार्केट पूरी तरह से व्यापार के लिए बंद है और अभी भी कई व्यापारी ऐसे हैं जो आग की घटना के बाद नया व्यापार शुरू नहीं कर पाए हैं।
ऐसे व्यापारियों की आर्थिक मदद के लिए सरकार के समक्ष प्रतिनिधिमंडल भेजने तक की बात बैठक में सामने आई।